देहरादून। भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष बंशीधर भगत ने कहा कि मोदी सरकार ने अपने कार्यकाल में नामुमकिन को मुमकिन बनाया है। मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल का एक वर्ष पूर्ण होने पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को बधाई प्रेषित करते हुए श्री भगत ने उनके कार्यकाल को ऐतिहासिक और अभूतपूर्व बताया। उन्होंने कहा कि बीते एक साल में मोदी सरकार ने जो बड़े निर्णय लिए, वह देश के इतिहास और राजनीति में हमेशा के लिए बड़ी उपलब्धि के तौर पर दर्ज हो गए।
उन्होंने कहा कि मोदी सरकार के दूसरी बार सत्ता में आते ही जम्मू कश्मीर से धारा 370 धराशाई हो गई। मुस्लिम बहनों को तीन तलाक के अभिशाप से मुक्ति मिली। नागरिकता संशोधन कानून लागू हुआ। आर्थिक सुधारों की गति बढ़ी है। आत्मनिर्भर भारत अभियान की शुरुआत हुई। भाजपा प्रदेश अध्यक्ष श्री भगत ने कहा कि मोदी सरकार ने लॉक डाउन से प्रभावित लोगों, अर्थ व्यवस्था, रोजगार, कृषि व उद्योगों के लिए 20 लाख करोड़ से अधिक के विशेष आर्थिक पैकेज की घोषणा कर आत्मनिर्भर भारत की दिशा में महत्वपूर्ण कदम उठाया है। मोदी सरकार ने आर्थिक सुधारों की श्रृंखला शुरू की है। कई ऐसे निर्णय लिए गए जिससे वैश्विक मंदी के बावजूद देश की अर्थव्यवस्था को गति मिली। उन्होंने कहा कोरोना संकट के समय में भी मोदी सरकार ने सूझबूझ का परिचय दिया। प्रधानमंत्री श्री मोदी के फैसलों की विश्व स्तर पर सराहना हुई है।
भाजपा नेताओं ने सुना राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा का सोसल मीडिया लाइव संबोधन
देहरादून। मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल का एक वर्ष पूर्ण होने पर भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जगत प्रकाश नड्डा द्वारा आज सोशल मीडिया पर लाइव संबोधन किया गया। संबोधन को सुनने के लिए भाजपा ने अपने सभी कार्यकर्ताओं को व्यापक स्तर पर निर्देश दिए थे। भाजपा प्रदेश मुख्यालय में प्रोजेक्टर लगाया गया था। हालांकि, लॉक डाउन और सोशल डिस्टेसिंग के चलते प्रदेश कार्यालय में लाइव कार्यक्रम को सांकेतिक रूप मनाया गया। प्रदेश महामंत्री (संगठन) अजेय की उपस्थित में सीमित संख्या में पार्टी पदाधिकारी उपस्थित रहे। इस दौरान प्रदेश मंत्री मधु भट्ट, आदित्य चैहान, प्रदेश मीडिया प्रभारी अजेंद्र अजय, कार्यालय सचिव कोस्तुभा नंद जोशी, सह मीडिया प्रभारी मनबीर चैहान आदि उपस्थित थे।
भाजपा ने कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष के बयान पर किया पलटवार
देहरादून। भाजपा के मुख्य प्रदेश प्रवक्ता मुन्ना सिंह चैहान ने कहा कि प्रदेश कांग्रेस द्वारा जिला योजना में आवंटित धन राशि को खर्च करने का अधिकार प्रभारी मंत्री के मार्गदर्शन में जिलाधिकारी को दिए जाने पर आपत्ति जतायी है और बहुत अति रंजीत तरीके से पूरी व्यवस्था पर ही गंभीर आरोप लगा दिये। कांग्रेस का यह कहना कि यह निर्णय तानाशाही वाला है और इससे भ्रष्टाचार को बढ़ावा मिलेगा नितांत गैर जिम्मेदाराना और काल्पनिक है।
सभी जानते हैं कि संविधान के अनुच्छेद 24र्3 क् के तहत जिला योजना समिति का गठन किया जाता है जिसके लिए राज्य में एक अधिनियम पहले ही विद्यमान् है और इससे संबंधित विधेयक को भी भाजपा सरकार के पूर्व कार्यकाल में ही पारित किया गया था। इस अधिनियम की व्यवस्था के अनुसार जिला योजना समिति के कम से कम 4 ध्5 जिला पंचायत एवं स्थानीय निकायों के निर्वाचित सदस्यों में से ही चुने जाते हैं। जिला योजना समिति के निर्वाचन एवं दायित्व व अधिकार संविधान के अनुच्छेद 243 ज्ञ (एक) के तहत गठित राज्य निर्वाचन आयोग को है ना कि सरकार को। राज्य निर्वाचन आयोग द्वारा चुनाव की प्रक्रिया समय पर प्रारंभ कर दी थी, नामांकन से लेकर नाम वापसी तक की प्रक्रिया संपादित भी हुई परंतु कोविड -19 के कारण जनता कर्फ्यू तथा उसके बाद लॉकडाउन की असाधारण परिस्थितियों के कारण निर्वाचन आयोग ने जिला योजना समिति के निर्वाचन की प्रक्रिया को आगे रोक दिया। ऐसी स्थिति में आरोप प्रत्यारोप लगाने से एक संवैधानिक संस्था निर्वाचन आयोग की दक्षता व निष्पक्षता पर प्रश्नचिह्न लगाना होगा जो कि अनुचित है। समझना चाहिए कि सरकार कोविड-19 हेल्थ इमरजेंसी के कारण यह अस्थाई व्यवस्था इसलिए की है कि जिला योजना समिति के गठन के अभाव में नितांत आवश्यक जनहित के कार्यों को सम्पादित कराए जा सके जहाँ तक कांग्रेस का यह कोई आरोप है कि इससे भ्रष्टाचार पनपेगा तो यह नितांत मनगढ़त है क्योंकि जिला योजना समिति केवल विभागों को परिव्यय का निर्धारण एवं योजनाओं का चयन करती है परंतु कार्यदायी संस्था नहीं है। व्यय पूर्व की भॉति संबंधित विभागों के माध्यम से ही होगा कांग्रेस हमेशा की तरह आपदा की इस कठिन समय में अनावश्यक इस मुद्दे पर संकीर्ण राजनीति कर रही है।
कांग्रेस की नजरों में राजनीति का चश्मा चढ़ा हुआः अजय
देहरादून। भाजपा के प्रदेश मीडिया प्रभारी अजेंद्र अजय ने कहा कि कांग्रेस की नजरों में राजनीति का चश्मा चढ़ा हुआ है। लिहाजा, उसको कोरोना संकट के कारण पैदा हुई असाधारण व असामान्य परिस्थितियां नजर नहीं आ रही हैं। कांग्रेस हर मुद्दे को राजनीति के चश्मे से देख रही है। उन्होंने जिला योजना समितियों को लेकर कांग्रेस द्वारा किए जा रहे विवाद को गैर जरूरी बताया। उन्होंने कहा कि जिला नियोजन समितियों के चुनाव मार्च माह में प्रस्तावित थे और राज्य निर्वाचन आयोग द्वारा इसकी प्रक्रिया भी शुरू कर ली गई थी।
मगर लॉक डाउन में केंद्र सरकार की गाइडलाइन के अनुसार चुनाव को स्थगित करना पड़ा। वैसे भी जिला योजना समिति के चुनाव कराना राज्य निर्वाचन आयोग की जिम्मेदारी है, जो कि एक संवैधानिक संस्था है। राज्य सरकार की इसमें कोई भूमिका नहीं है। उन्होंने कहा कि संवैधानिक संस्थाओं की मर्यादा भंग करना और अपने अनुकूल निर्णय ना आने पर उनकी धज्जियां उड़ाना कांग्रेस का इतिहास रहा है। जिला योजना चुनाव स्थगित होने को लेकर कांग्रेस द्वारा सवाल उठाया जाना राज्य निर्वाचन आयोग की प्रतिष्ठा पर प्रश्न चिन्ह लगाना है। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार ने एक अंतरिम व्यवस्था के तौर पर जिला योजना के परिव्यव की स्वीकृति का अधिकार प्रभारी मंत्रियों के अनुमोदन के बाद जिलाधिकारियों को दी है। परिस्थितियों के सामान्य होते जिला योजना समिति के चुनाव करा लिए जाएंगे। उन्होंने कहा कि सरकार को ऐसा निर्णय कोरोना संकट के चलते अपरिहार्य परिस्थितियों में लेना पड़ा है। सरकार के इस निर्णय के बाद विभिन्न विभाग खासकर स्वास्थ्य विभाग कोरोना महामारी के अनुरूप अपनी योजनाओं और जरूरतों के हिसाब से बजट खर्च कर सकेगा। उन्होंने क्वारंटाइन सेंटरों को लेकर कांग्रेस नेताओं द्वारा लगातार हो-हल्ला मचाए जाने को उनका गैर जिम्मेदाराना रवैया बताया। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार द्वारा क्वारंटाइन सेंटरों की व्यवस्थाओं को चुस्त-दुरुस्त रखने और समुचित व्यवस्था सुनिश्चित करने के लिए सभी जिलाधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए गए हैं और शासन स्तर पर इसकी नियमित मानटरिंग की जा रही है।