रुद्रप्रयाग। विश्व के करोड़ों हिंदुओं की आस्था का धाम विश्वप्रसिद्ध केदारनाथ के कपाट छह माह के शीतकालीन अवकाश के बाद सोमवार सुबह पांच बजे मेष लग्न में विधि विधान से खोल दिए गए। पिछले वर्ष की तरह इस बार भी कोविड-19 के कारण कपाटोद्घाटन के दौरान श्रद्धालु उपस्थित नहीं रहे। इस अवसर पर मंदिर परिसर में तीर्थ पुरोहित, पंडा समाज और हकहककूधारियों की उपस्थित रही। आज पूरे विधि-विधान के साथ मेष लग्न में केदारनाथ भगवान के कपाट खोल दिये गए। बाबाकेदार के मंदिर को 11 कुंतल फूलों से सजाया गया है। सुबह तड़के तीन बजे मंदिर में विशेष पूजा अर्चना शुरू हुई। मुख्य पुजारी बागेश लिंग ने बाबा की समाधि पूजा के साथ अन्य औपचारिकता पूरी की। इसके बाद 5 बजे बाबा के कपाट खोल दिए गए। मंदाकिनी एवं सरस्वती नदी के संगम पर स्थित केदारनाथ में इस बार भी कपाटोद्घाटन समारोह सूक्ष्म रूप से आयोजित किया गया। कोरोना महामारी के कारण यात्रा पर रोक लगी है।
मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत ने श्रद्धालुओं को शुभकामनाएं देते हुए घरों में ही रह कर पूजा अर्चना करने की अपील की है। पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज ने बताया कि देवस्थानम बोर्ड एवं मंदिर समितियों द्वारा चारों धामों में पहली पूजा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से जनकल्याण के लिए की जा रही है।