देहरादून। कोविड-19 के संक्रमण के दृष्टिगत भारत सरकार द्वारा देश में लाॅकडाउन घोषित किये जाने के फलस्वरूण उत्तराखंड सूचना आयोेग में 23 मार्च 2020 से सूचना का अधिकार अधिनियम 2005 के तहत प्राप्त द्वितीय अपीलों/शिकायतों की सुनवाई नहीं की जा रही है। आयोग के द्वारा प्राप्त द्वितीय अपीलों/शिकायतों की सुनवाई 22 मई से आॅडियो/वीडियो काॅन्फ्रेंस के माध्यम से किये जाने का निर्णय लिया गया हैै। सूचना अधिकार कार्यकर्ता नदीम उद्दीन ने सूचना आयोग के इस निर्णय का स्वागत किया हैै।
गत 14 मई 2020 को 2005 से ही सूचना अधिकार कानून लागू कराने के लिये संघर्षरत सूचना अधिकार कार्यकर्ता नदीम उद्दीन (एडवोेकेट) ने उत्तराखंड कोरोना काल मेें मोबाइल, इंटरनैैट के माध्यम से सूचना का अधिकार लागू करने की मांग की थी जैैसे कि केन्द्रीय लोक सूचना अधिकारियों के मामले में केन्द्रीय सूचना आयोेग नेे निर्देश दिये हैै। इस सम्बन्ध में ई-मेल व व्हाट्स एप्प से मुख्य सूचना आयुक्त को शिकायत व सुझाव भेेजे गये थे। इसके उपरान्त उत्तराखण्ड सूचना आयोग ने आदेश जारी करके इसका विवरण आयोग की वेबसाइट पर उपलब्ध कराया गया है। आयोग की वेबसाइट पर उपलब्ध विवरण के अनुसार आॅडियो/वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से सुनवाई हेतु अपीलकर्ता/शिकायतकर्ता को अपना मो0 न0, ईमेल आयोग को डाक द्वारा या आयोग की ईमेल पर उपलब्ध कराया जाना आवश्यक होगा। अपीलकर्ता/शिकायतकर्ता चाहें तो अपना लिखित अभिकथन भी डाक/दूरभाष/ईमेल से आयोेग को प्रेेषित कर सकते हैं। यदि अपीलकर्ता/शिकायतकर्ता अपने लिखित अभिकथन के आधार पर द्वितीय अपील/शिकायत की सुनवाई हेतु सहमत हैं, तो वे अपना सहमति पत्र आयोग को डाक/ईमेल/फेक्स केे द्वारा प्रेषित कर सकते हैं। कोविड-19 केे संक्रमण के दृष्टिगत द्वितीय अपील/शिकायत की सुनवाई आॅडियो/वीडियो के माध्यम से सुचारू रूप से की जा सकें इस हेतु उत्तराखंड राज्य के समस्त लोक प्राधिकारियों से भी विभाग में नामित लोक सूचना अधिकारियों/विभागीय अपीलीय अधिकारियोें की अद्यतन सूची जिसमें लोक सूचना अधिकारी व विभागीय अपीलीय अधिकारी का नाम, पदनाम, पत्राचार का पता के साथ-साथ संपर्क हेतु दूरभाषा /मो0न0 तथा ईमेल आई0डी0 का विवरण भी आवश्यक रूप से आयोग को ईमेल के माध्यम से प्र्रेषित किया जाना अपेक्षित है।

