ताइपे। अमेरिका की प्रतिनिधिसभा की अध्यक्ष नैन्सी पेलोसी ने बुधवार को कहा कि ताइवान की यात्रा पर पहुंचा अमेरिकी प्रतिनिधिमंडल यह संदेश दे रहा है कि अमेरिका स्वशासी द्वीप के प्रति अपनी प्रतिबद्धताओं से पीछे नहीं हटेगा। चीन के विरोध के बावजूद पेलोसी के नेतृत्व में एक प्रतिनिधिमंडल ताइवान में कई नेताओं के मुलाकात कर रहा है।
ताइवान की राष्ट्रपति साई इंग-वेन के साथ मुलाकात के बाद एक संक्षिप्त बयान में उन्होंने कहा, ‘‘आज विश्व के सामने लोकतंत्र और निरंकुशता के बीच एक को चुनने की चुनौती है। ताइवान और दुनियाभर में सभी जगह लोकतंत्र की रक्षा करने को लेकर अमेरिका की प्रतिबद्धता अडिग है।’’ ताइवान को अपना क्षेत्र बताने और ताइवान के अधिकारियों की विदेशी सरकारों के साथ बातचीत का विरोध करने वाले वाले चीन ने अमेरिकी प्रतिनिधिमंडल के मंगलवार रात ताइवान की राजधानी ताइपे पहुंचने के बाद द्वीप के चारों ओर कई सैन्य अभ्यासों की घोषणा की और कई कड़े बयान भी जारी किए।
अमेरिका की प्रतिनिधि सभा की अध्यक्ष नैन्सी पेलोसी के रवाना होते ही चीन के फाइटर जेट ताइवान की सीमा में घुस गए। 27 चीनी युद्धक विमानों ने बुधवार को ताइवान के वायु रक्षा क्षेत्र में उड़ान भरी। दरअसल चीन के भारी विरोध के बीच पेलोसी ने ताइवान यात्रा की थी। अब उनके जाते ही चीन के युद्धक विमान ताइवान की सीमा में मंडराने लगे। चीन स्व-शासित द्वीप को अपना हिस्सा मानता है। बुधवार को ताइवान के रक्षा मंत्रालय ने एक ट्वीट में कहा, “27 पीएलए विमान 3 अगस्त, 2022 को (चीन गणराज्य) के आसपास के क्षेत्र में घुस गए।” इससे पहले, ताइवान की यात्रा पर पहुंचे अमेरिकी प्रतिनिधिमंडल ने कहा था कि अमेरिका स्वशासी द्वीप के प्रति अपनी प्रतिबद्धताओं से पीछे नहीं हटेगा। पेलोसी पिछले 25 वर्षों में ताइवान की यात्रा करने वाली अमेरिकी प्रतिनिधि सभा की पहली अध्यक्ष हैं। ताइवान को अपना क्षेत्र बताने वाले चीन ने द्वीप के चारों ओर कई सैन्य अभ्यासों की घोषणा की और कई कड़े बयान भी जारी किए।